Big Breaking-बस्तर में फिर एक भाजपा नेता हुआ टार्गेट किलिंग का शिकार…मंदिर में पूजा करते भाजपा नेता कोमल मांझी को नक्सलियों ने काट डाला…जिला भाजपा उपाध्यक्ष सागर साहू की हत्या के बाद यह दूसरी वारदात…भाकपा माओवादी ने ली हत्या की जिम्मेदारी…मौके पर टांगा बैनर
अर्जुन झा की रिपोर्ट
जगदलपुर। बस्तर संभाग के भाजपा नेता एक के बाद नक्सलियों के निशाने पर आ रहे हैं। नक्सली चुन चुनकर भाजपा नेताओं की हत्या कर रहे हैं। संभाग के छोटे डोंगर थाना क्षेत्र में पूजा करने मंदिर पहुंचे भाजपा नेता कोमल मांझी को नक्सलियों ने कुल्हाड़ी से काट डाला। चंद माह के भीतर नक्सली दो भाजपा नेताओं को मौत के घाट उतार चुके हैं। इन घटनाओं से जाहिर होता है कि नक्सली भाजपा नेताओं की टार्गेट किलिंग कर रहे हैं तथा वे हिंदुत्व विरोधी भी हैं।
पुलिस और सुरक्षा बलों द्वारा चलाए जा रहे नक्सल विरोधी अभियानों व की जा रही कार्रवाई से नक्सली विचलित हो उठे हैं। वे अपनी भड़ास आम ग्रामीणों तथा भाजपा कार्यकर्ताओं पर उतार रहे हैं। चंद माह पहले ही नक्सलियों ने नारायणपुर जिला भाजपा के उपाध्यक्ष सागर साहू की हत्या कर दी थी। आज शनिवार को एकबार फिर नक्सलियों ने नारायणपुर जिले के ही दूसरे भाजपा नेता की जान ले ली। नारायणपुर जिले के छोटेडोंगर थाना क्षेत्र अंतर्गत मुंडाटिकरा गांव के निवासी भाजपा नेता कोमल मांझी गांव के शीतला मंदिर में पूजा करने गए थे। तभी वहां कुछ नक्सली आ धमके। नक्सलियों ने भाजपा नेता कोमल मांझी को निको जायसवाल कंपनी का एजेंट बताते हुए उन पर टंगिए से ताबड़तोड़ वार करना शुरू कर दिया। कोमल मांझी के शरीर पर अनगिनत वार किए गए, जिससे उनकी मौके पर ही मौत हो गई। श्री मांझी पूजा के लिए जो जल कलश साथ लेकर गए थे, वह उनके हाथ से छिटक कर दूर जा गिरा। वारदात को अंजाम देने के बाद नक्सली बाकायदा वारदात वाली जगह पर बैनर टांग व पर्चा छोड़ गए हैं।
बताते हैं कि नक्सली आमदई माइंस में खनन का विरोध करते आ रहे हैं। यह माइंस निको जायसवाल ग्रुप की बताई जाती है। कुछ दिनों पहले ही नक्सलियों द्वारा माइंस में प्लांट की गई आईईडी के विस्फोट से दो युवा मजदूरों की मौत हो गई थी तथा एक अन्य मजदूर गंभीर रूप से घायल हो गया था। बताते हैं कि नक्सलियों ने कोमल मांझी को पहले ही चेतावनी दे रखी थी। कोमल मांझी की हत्या की जांच छोटेडोंगर पुलिस कर रही है। वारदात के बाद आसपास के जंगलों में सर्चिंग तेज कर दी गई है।
कोमल मांझी की हत्या की जिम्मेदारी भाकपा माओवादी ने ली है। इस नक्सली संगठन ने वहां छोड़े गए पर्चे में लिखा है कि – ग्राम डोंगर मुंडी टिकरा का निवासी कोमलसिंह प्रसाद आमदई खदान में दलाली कर करोड़ों रुपए खा गया है। उसे हमने मौत की सजा दी है। खदान दलाल और साम्राज्यवादी ताकतों तथा सरकार का एजेंट मत बनो। जो ऐसा करेगा, उसकी मौत पक्की है। सुधर जाओ मजदूर दलालों। हम कई बार अपील कर चुके हैं। आमदई से गद्दारी मत करो।
वारदात वाली जगह पर नक्सलियों ने जो बैनर टांग रखे हैं, उन पर लिखे वाक्य बताते हैं कि अब नक्सली भी कुछ राजनैतिक दलों की तरह हिंदू और हिंदुत्व विरोधी हो चले हैं। हिंदुत्व शब्द का उल्लेख कर नक्सलियों ने साबित कर दिया है कि उन्हें भी हिंदू धर्म से एलर्जी है।भाकपा माओवादी के बैनर पर लिखा है कि नारायणपुर जिले के छोटे डोंगर के निवासी आरएसएस एवं बीजेपी के उपाध्यक्ष सागर साहू को जनता के फैसले के मुताबिक पीएलजीए ने मौत की सजा दी थी। आमदई खदान निको कंपनी के एजेंट का काम करने वाले बैदराज कोमल मांझी और हरि मांझी जनता के सामने आकर अपनी गलती मान लें। नहीं मानने पर सागर साहू जैसी मौत मिलेगी। और बाकी लोग भी इनके जैसी दलाली न करें। नक्सली संगठन सीपीआई (माओवादी) की नेलनार एरिया कमेटी के बैनर में अंकित है कि आगामी छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनाव का बहिष्कार करें। हिंदुत्व, भाजपा, आरएसएस और कांग्रेस को मार भगाओ। संशोधनवादी पार्टियों को कटघरे में खड़ा कर जन समस्याओं पर सवाल उठाओ। आमदई खदान हमारी है, किसी के बाप की नहीं। खदान का दोहन बंद करो।